• December 3, 2023

बाल व युवा कलाकारों ने सजाया सलिल चौधरी के संगीतबद्ध गीतों का गुलदस्ता

बाल व युवा कलाकारों ने सजाया सलिल चौधरी के संगीतबद्ध गीतों का गुलदस्ता

जयपुर। शास्त्रीनगर स्थित संगीत आश्रम संस्थान में चल रहे दो दिवसीय संगीत समारोह के आखिरी दिन शनिवार को लेजेंडरी बॉलीवुड म्यूजिक डायरेक्टर सलिल चौधरी की याद में उनके ही संगीतबद्ध सदाबहार गीतों की गूंज रही। समाजसेवी ताराचंद जैन ने मां सरस्वती की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर कार्यक्रम की शुरुआत की।

संगीत निर्देशक अमित अनुपम के निर्देशन में सजे इस सांस्कृतिक कार्यक्रम में अनेक बाल व युवा कलाकारों ने सुर,लय और ताल में गीतों की दिलकश प्रस्तुति दी। कलाकार ममता शर्मा ने जिन्दगी कैसी है ये पहेली…, सुमित्रा अग्रवाल ने आजा रे परदेसी, गर्विता मंगल ने ओ सजना बरखा बहार आई…, डॉ.मनीष जैन ने कहीं दूर जब दिन ढल जाए…, लोकेश ने टूटे हुए ख्वाबों ने हमको ये…, रियाशीं अग्रवाल ने छम छम नाचत आई बहार…, गोपालसिंह व रशिका कंवर ने इतना ना मुझसे प्यार बढ़ा…, वनिता हीरानी ने बाग में कली खिली… जैसे गीतों की प्रस्तुति में म्यूजिक डायरेक्टर मरहूम सलिल चौधरी के संगीत की मिठास को शिद्दत से महसूस कराया। इसी प्रकार वीरेन्द्र सिंह, वाणी कोठारी, राजवी, अंजली शर्मा, लक्ष्य शर्मा, वरुण शर्मा और विमर्श स्वामी व तनविका ने गीतों की सलोनी प्रस्तुति दी। संचालन वीना अनुपम ने किया।

अकॉर्डियन पर सुलेमान खान, गिटार पर दिशा शर्मा व वत्सल अनुपम, तबले पर गौरव सिंह, ढोलक पर लोकेश, ऑक्टोपेड पर वरुण जांगिड़, हारमोनियम पर हरीश नागौरी ने प्रभावी संगत की। अंत में संस्थान सचिव अमित अनुपम ने सभी आगन्तुकों का आभार जताया।

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